कृत्रिम गर्भाधान से दुग्ध उत्पादन और वंशवृद्धि को मिला बढ़ावा
रायपुर,छत्तीसगढ़ राज्य के दंतेवाड़ा जिले के बचेली चालकीपारा निवासी श्री सम्पत राणा और उसके अन्य साथियों ने राज्य पोषित डेयरी उद्यमिता योजनान्तर्गत लाभान्वित होकर स्वरोजगार के सपने को साकार किया है। डेयरी उद्यमिता योजनान्तर्गत पशुपालन विभाग द्वारा बैंक की सहायता से सम्पत राणा समूह को डेयरी व्यवसाय के लिए आवश्यक मदद सुलभ करायी गई, जिसके तहत समूह को उन्नत नस्ल के 12 गाय उपलब्ध कराने के साथ ही पशु आवास हेतु शेड निर्माण और नलकूप स्थापित कराया गया, जिससे समूह ने डेयरी व्यवसाय का सफलतापूर्वक संचालन आरंभ किया। समूह द्वारा पालतू दुधारू पशुओं के लिए प्रचुर मात्रा में चारा का उत्पादन भी किया जा रहा है। कृत्रिम गर्भाधान के जरिये पैदा हुई बछिया अब गाभिन होकर दुग्ध उत्पादन कर रही हैं और इन गायों से अब डेयरी का संचालन किया जा रहा है। समूह को दुग्ध उत्पादन में आशातीत लाभ होने के साथ ही उन्नत नस्ल की बछिया मिल रही है। डेयरी व्यवसाय से ग्रामीण क्षेत्रों के किसान और पशुपालक अपनी आय में वृद्धि कर रहे हैं। पशुधन विकास विभाग द्वारा इस वर्ष आजीविका संवर्धन योजनान्तर्गत आदिवासी युवाओं को स्वरोजगार स्थापित करने के लिए सहायता उपलब्ध कराया गया है, जिसके तहत युवाओं द्वारा बैलाडीला डेयरी परियोजना गठित कर संचालन किया जा रहा है। डेयरी परियोजना से युवा आर्थिक रूप से सशक्त होकर आत्मनिर्भरता की ओर अग्रसर है।