रोजगार गारंटी योजना से लेखराम और उसके परिवार को सिंचाई का साधना मिलने से किचन गार्डन का सपना पूरा हुआ
कवर्धा,किसी भी शासकीय योजना को तभी सफल कहा जा सकता है , जब लोगो के जीवन में बदलाव आये तथा समाज की मुख्यधारा से जुड़कर आगे बढ़े। पानी के अभाव में सुखी जमीन और उसपे सपनों का टूट जाना निराशा दे जाता है, लेकिन कहते है कि अवसर सबको मिलता है अपने सपनो को साकार करने का और यह अवसर महात्मा गांधी राष्ट्रीय ग्रामीण रोजगार गारंटी योजना ने दिया । बात हो रही है कबीरधाम के विकासखण्ड बोड़ला के वनांचल गांव बम्हनी में कूप निर्माण के साथ सौर-सूजला का लाभ लेकर जैविक किचन गार्डन बनाने वाले श्री लेखराम चैधरी, पिता श्री टेक सिंह चैधरी की। इनकार जाॅब कार्ड न.बी. 02-002-56-001/278 हैं। वैसे तो श्री लेखराम चैधरी शिक्षित है, अपने 40 डिसमील की बाड़ी में हमेशा से जैविक खाद के द्वारा किचन गार्डन बनाने कि योजना के बारे में सोचते थें लेकिन सिंचाई के लिए पानी नहीं होने के कारण इच्छा पूरी नहीं हो सकी। पंचायत बैठकों में जाना ग्रामसभा में भाग लेना कितना लाभकारी होता है, इसका अन्दाजा इसी बात से लगाया जा सकता है कि रोजगार गारंटी योजना के बारे में जानकारी मिली तथा अपने सपनों को पूरा करने की दिशा तय हो गई।
ग्राम पंचायत को लेखराम ने अपने जमीन का नक्शा, खसरा देकर कुआं निर्माण कराने की मांग की जो बहुत ही जल्द पूरी हो गई। 2.10 लाख की लागत से कूप निर्माण का कार्य स्वीकृत हो गया। इस कार्य में 64 हजार रू. मजदूरी पर एवं 1.46 लाख रू.सामग्री पर व्यय हुआ। लेखराम और उसके परिवार के साथ अन्य ग्रामीणों को 396 मानव दिवस का रोजगार 162 रूपये के दर से मिल गया। लगभग 40 फीट की गहराई वाला कुआं घर के बाड़ी में खोदा गया। कुएं में दो-दो फीट की 17 रिंग डाली गई। आज भी 18-20 फीट में पानी उपलब्ध है, जो सिंचाई, निस्तारी के साथ पेयजल के रूप में काम आ रहा है। ग्राम पंचायत की सक्रियता ने लेखराम को सौर-सूजला योजना से लाभान्वित कर दिया। क्रेडा विभाग के द्वारा 2.5 लाख की लागर से सोलर पैनल लगाया गया जिसमें 2 एचपी का पम्प तथा पूरा पाईप लाईन लगाकर दिया गया है। लेखराम को सिर्फ 10,000 रूपये घर से खर्च करना पड़ा बाकी पूरा पैसा सब्सीडी के रूप में प्राप्त हो गया।
किचन गार्डन बनाने का सपना अब मुर्त रूप ले चुका है। गोभी, टमाटर, लहसुन, मूली, लाल भाजी, पालक धनीया, प्याज, आलू जैसे सभी प्रकार की मौसमी सब्जियां, जैविक खाद से तैयार होकर घर के लिए उपलब्ध हो रहा है। जैविक खाद के लिए घर में 5 बकरी, 3 गाय एवं 7 मुर्गा उपलब्ध है जिनके अवशिष्ट से इसकी आपूर्ति हो जाती है।
श्री लेखराम चैधरी स्वंय अपने बारे में बताते है कि महात्मा गांधी राष्ट्रीय ग्रामीण रोजगार गारंटी योजना से बहुत लाभ हुआ है। पानी के अभाव में पहले जमीन बंजर ही पड़ी रहती थी कोई काम नहीं कर पाता था। हमेंशा से जैविक खाद के द्वारा किचन गार्डन बनाने का लक्ष्य इस योजना से पूरा हो रहा है। पूरे दिन भर अपने कुएं से पानी मोटर की सहायता से निकल जाता है वो भी अपने समय के सुविधा अनुसार इसके लिए कोई अतिरिक्त बिजली खर्च नहीं देना पड़ता। लेखराम आगे बताते है की अब मैं बाजार से कोई भी सब्जी नहीं खरीदता हुं, जिससे मेरे पैसो की बचत हो जाती है। सारी सब्जियां घर में ही उपयोग हो रही है। और घर में आने वाले मेहमानों को भी मैं खुशी-खुशी सब्जियों देता हुं और कहता हुं की इस योजना ने मेरे सपनों को साकार कर दिया है।
बम्हनी पंचायत में 65 हितग्राहियों को मिला है कूप निर्माण का लाभ- विजय दयाराम के.
मुख्य कार्यपालन अधिकारी जिला पंचायत कबीरधाम श्री विजय दयाराम के. बताते हैं की ग्राम पंचायत बहमनी में गत वर्षों में अब तक 65 हितग्राहियों को कूप निर्माण से लाभान्वित किया गया है जो महात्मा गांधी राष्ट्रीय ग्रामीण रोजगार गारंटी योजना से हुआ है। जिसमें लेख राम और उसका परिवार भी लाभविन्त हुआ है। श्री विजय दयाराम के. ने आगे बताया की कूप बन जाने के बाद छत्तीसगढ़ राज्य अक्ष्य ऊर्जा से सौर सुजला योजना के तहत सोलर पैनल और पंप लगाकर मिल गया है। पानी की सुविधा उपलब्ध होने से अब हितग्राही साल भर मौसमी सब्जियों को लगा रहे है और उसका उपयोग घर मे कर रहे है जिससे उनके पैसे की सीधी बचत हो रही है।घर के साग सब्जियों से पौष्टिक खाना मिल रहा है और बाजार से खरीदने की नौबत नही आती है। जो एक पैसा बचाना एक पैसा कमाने के बराबर है।