अर्जुनी – तिल्दा विकासखण्ड के ग्राम पंचायत तुलसी नेवरा में त्रिदिवसीय मानस गान सामरोह को आयोजन किया गया। कार्यक्रम में मुख्य अतिथि डोमेश्वरी वर्मा अध्यक्ष जिला पंचायत रायपुर एवं विशिष्ट अतिथि के रूप में अंचल के प्रसिद्ध समाजसेवी एवं जिला पंचायत रायपुर के उपाध्यक्ष टंक राम वर्मा थे। कार्यक्रम को संबोधित करते हुए समाजसेवी टंक राम वर्मा ने कहा कि यदि हम अपने वाणी का उपयोग सोच समझ कर करें तो हमारे कैरियर का निर्माण होता है, नए नए रिश्ते जुड़ते हैं समाज में मान सम्मान बढ़ता है। इस तरह वाणी याने हमारे जिव्हा, हमारे शरीर का सबसे महत्वपूर्ण अंग है। ठीक इसके विपरीत अपने जिव्हा का उपयोग बिना सोचे समझे करें, कटु बोले तो हमारा कैरियर बर्बाद हो जाएगा। हमारे सभी रिश्ते नाते हमसे मुंह मोड़ लेंगे और समाज में कोई मान सम्मान नहीं रहेगा। इस तरह जिव्हा हमारे शरीर का सबसे खराब अंग हुआ। वाणी का उपयोग करना भी एक कला है और जिसको यह कला आती है उसका जीवन महान बन जाता है। कोई जरूरी नहीं है कि पढ़ा लिखा इंसान को ही अच्छा बोलना आता है यह तो कला है कम पढ़ा लिखा व्यक्ति भी अच्छा और मधुर बोल सकता है। वाणी में बहुत ताकत होती है जो भयंकर युद्ध को भी जन्म देती है। महाभारत युद्ध होने का कई कारण हो सकता हैं लेकिन सबसे बड़ा कारण था द्रोपदी का दुर्योधन को यह कहना कि आखिर अंधे का पुत्र अंधा होता है। यह शब्द दुर्योधन के ह्रदय को बाण की तरह की तरह चुभ गया और सही मायने में यही युद्ध का कारण बना। कहते हैं कि शरीर में लगा घाव तो भर भरा जा सकता है लेकिन शब्दों का घाव कभी भरा नहीं जा सकता। इसीलिए कहा भी गया है कि “शब्द संभालकर बोलिए शब्द के हाथ न पांव, एक शब्द औषधि करें, एक करत है घांव”। हमेशा मीठा जुबान होना चाहिए। कथा स्थल को श्रीमती डोमेश्वरी वर्मा ने भी संबोधित किया इस अवसर पर नरसिंह वर्मा पूर्व भाजपा मंडल अध्यक्ष तिल्दा, संतोषी वर्मा जनपद सदस्य, मनहरण वर्मा जनपद सदस्य प्रतिनिधि, प्रेमनाथ वर्मा, आयोजन मंडल के सभी सदस्यगण एवं ग्रामवासी उपस्थित थे।